विद्यार्थी जीवन में बरदिन का महत्व
बरदिन आया
बरदिन आया
सबके लिए प्यार लाया ।
एकता , शांति , प्रेम , त्याग भाव जगाकर
सबके दिलों में प्यार लाया ।
अहिंसा , दया , सहिष्णुता , विद्यार्थीयों में जागरूक कर ,
नयी उम्मीदों के किरण बनकर
बरदिन आया
बरदिन आया ।
हर त्योहार मानव की उन्नत भावनाओं , श्रद्धा व विश्वास का प्रतीक होता है ।भारतवर्ष त्योहारों की भूमि हैं , कुछ त्योहारों की सृष्टि प्रकृति के आधार पर हुई तो कुछ त्योहार महापुरुषों के कार्यों के जीवन पर आधारित है ।बड़ादिन अथवा बरदिन अथवा क्रिसमस ईसाई धर्म के प्रवर्तक 'ईसा मसीह' (जीसस क्राइस्ट ) के जीवन पर प्रतिवर्ष २५ दिसम्बर को पूरे विश्व में बड़ी खुशी से मनाया जाता है । यह ईसाइयों का सबसे बड़ा त्योहार है । इसी दिन प्रभु ईसा मसीह का जन्म हुआ था । यह दिन सभी को महात्मा ईसा मसीह के जीवन से बलिदान तथा सहिष्णुता की भावना ग्रहण करने की प्रेरणा देता है ।
ईसा मसीह सत्य , अहिंसा , उच्च विचार तथा मानवता के सच्चे प्रतीकात्मक संस्थापक थे । बरदिन प्रभु यीशु के जन्म , जीवन और उनके बलिदान की कहानी बयान करता है । इस दिन प्रभु यीशु के सामने अपनी गलतियों के लिए माफी मांगते हुए इंसान अपने जीवन को एक बार फिर से नये सदकर्मों के रास्ते पर ले जा सकता है । यह त्योहार हमें बताता है कि इंसानियत के लिए जियो और इंसानियत बचाए रखो । इसलिए कक्षा दसवीं के पाठ 'नींव के ईंट' में ईसाई धर्म का जिक्र किया गया है, ताकि विद्यार्थी उस पाठ के जरिए ईसाई धर्म की महानता को समझें और समाज के नव निर्माण में एक अहम भूमिका निभाए । यह त्योहार विद्यार्थीयों तथा लोगों को यह संदेश देता हैं कि हमें चाहे कितनी भी आपदा क्यों न आ जाए, लेकिन इसके बावजूद भी हमें इंसानियत को नहीं भूलना चाहिए । इसके साथ ही हमें स्वयं के साथ-साथ लगातार दूसरों को भी इस बात के लिए प्रेरित करना चाहिए कि वे बुरे कार्यों को छोड़ कर सभी के साथ मिलकर समाज को बेहतर व सुन्दर बनाने का निरंतर प्रयास करते रहना चाहिए ।
बरदिन प्रेम शांति , एकता का संदेश लाता है । ईसा ने अपना पूरा जीवन मानव उद्धार में लगा दिया था । यह त्योहार हमें दीन दुखियों से प्रेम करने , उनके सेवा करने की शिक्षा भी देता है । बरदिन या बड़ादिन विद्यार्थीयों की जीवन में बड़ी चीजों के लिए आभारी होना सिखाने का भी एक अच्छा समय है । बरदिन का महत्व समझाने के लिए विद्यालयों में बच्चों को बरदिन पर निबंध लिखने का कार्य दिया जा सकता है ताकि विद्यार्थी ईसा मसीह के बताए हुए सत्य , अहिंसा , निष्ठा , दयाभाव आदि रास्तें पर चलने की प्रेरणा पा सके ।
हिंदी शिक्षिका
सत्रपरा आइडियल हाईस्कूल
शिक्षा खंड : रामपुर, कामरूप
0 Comments