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হিন্দী কবিতা, आजाद पंछी‌, गीता राणी डेका, ৫ম বছৰ-১ম সংখ্যা,

 आजाद पंछी‌ 



भारत के आजाद पंछी हैं हम,
मिलकर बनाएं भारत को महान
नदियाँ,लहरें, झरनें और पर्वत
बीच में बसा हुआ हमारे भारत
हरे-भरे हैं खेत हरियाली
सबके दिलों में फैला दो खुशहाली।
ज्ञान-विज्ञान और प्रयुक्ति का‌
नया सिलसिला, शुरू हुआ नया जमाना।

दुनिया को दिखाना है 
हम भी तो किसी से कम नहीं।
उड़ाना सिखाएंगे सबकों हम 
मूक्त गगन में
हम हैं आजाद पंछी‌, धरती मां की
मिलकर बनाएं भारत को महान ।


गीता राणी डेका
पी.एम.श्री तुलसीवारी बहूमुखी उच्चतर माध्यमिक विद्यालय
शिक्षाखंड - रंगिया

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